320+ Welcome Shayari in Hindi 2025

जब कोई मेहमान दिल से स्वागत के काबिल हो, तो शब्द भी खास होने चाहिए। Welcome Shayari in Hindi के इस खूबसूरत संग्रह में आप पाएँगे ऐसे दिल को छू लेने वाले अल्फ़ाज़, जो किसी भी मेहमान, दोस्त या खास व्यक्ति का तहे दिल से स्वागत करने के लिए बिल्कुल उपयुक्त हैं। चाहे कोई घर आए, कार्यक्रम में शामिल हो या ज़िंदगी में वापस लौटे, इन शायरियों के ज़रिए आप अपने जज़्बात शायराना अंदाज़ में बयां कर सकते हैं। स्वागत को सिर्फ़ रस्म ना बनाएं, उसे एक एहसास बनाइए — शायरी के साथ।
Welcome Shayari in Hindi
सौ चाँद भी चमकेंगे तो क्या बात बनेगी,
तुम आए तो इस रात की औक़ात बनेगी !
हमारी महफिल में दिल वाले ही ही आते हैं,
यहां पर स्वागत में फूल बिछाए जाते हैं !
दिल को सुकून मिलता है मुस्कुराने से,
महफिल में रौनक छा गई आपके आने से !

आपके आने से महफ़िल में रौनक आ गयी,
आपके आने से चारों ओर खुशियां छा गयी !
दिल से आपका स्वागत हम करते हैं,
इस मुलाकात का सफर अनमोल होगा,
ये मुलाकात हमेशा यादगार रहेगी,
आपका स्वागत हमेशा दिलों में बसा रहेगा !
दिल से आपका स्वागत है,
आपके साथ हमारी खुशी का बासर है,
आपके आने से हमने जीता है एक अभिसार,
आपको विशेष स्वागत है, हमारी धरती पर !
आइए आपका स्वागत है,
यहाँ हर दिल में तेरे लिए जगह है,
कुछ मीठे बोल जब हम बोलेंगे,
तो आपका दिल भी खुशी से झूम उठेगा !
आपके आने की ख़ुशी हम कैसे करें बयां,
बस इतना जान लो अब रौशन है हमारा सारा जहां !
हम उम्मीद करते हैं आपका स्वागत हो जाए
आपकी खुशियों की बौछार सबके दिल में छाए !
आपका हमारे दिलों में स्वागत है,
यहाँ है खुशियों की धूमधाम,
आइए मिलकर बनाएं खुशियों की रात,
यहाँ आपका आना हमारे लिए अनमोल साथ !
Swagat Shayari in Hindi
अतिथि हो आप या खुदा का दूत,
आपके स्वागत में हम हमेशा होंगे उत्सुक !
आपका हमारे जीवन में स्वागत है,
यहाँ मिलेगा दोस्ती का प्यारा संगीत,
आइए साथ मिलकर बढ़ाएं यह खुशियों की छाप,
यहाँ हम सब मिलकर बनाएंगे ख़्वाबों की उड़ानों का सफर !
आप आए तो बहारों ने लुटाई ख़ुश्बू
फूल तो फूल थे काँटों से भी आई ख़ुश्बू !

चलिए आपका हमारे संग करें स्वागत,
यहाँ होगा खुशियों का खूबसूरत संगम,
आइए आपके साथ बनाएं यह जिंदगी की कहानी,
यहाँ हम सब मिलकर बनाएंगे यादें मनोहारी !
चलिए आपको आँगन में स्वागत करें,
यहाँ हम सब मिलकर बनाएंगे यादें अमर !
सजाई महफिल में भी लगती है कुछ कमी,
आपके आने से मुकम्मल महफिल सजी !
सौ चाँद भी आ जाएँ तो महफिल में वो बात न रहेगी,
सिर्फ आपके आने से ही महफिल की रौनक बढ़ेगी !
हसरतो ने फिर से करवट बदली है,
आप आये तो बलखा के बहारें आई !
शब्दों का वजन तो हमारे बोलने के भाव से पता चलता हैं,
वैसे तो दीवारों पर भी वेलकम लिखा होता हैं !
आपके सम्मान भरी तालियों के साथ आ रहे हैं,
मंच पर आज के हमारे मुख्य अतिथि,
इनके लिए जोरदार ताली !
दिल को सुकून मिलता है मुस्कुराने से,
महफिल में रौनक छा गई आपके आने से !
You can also read Farewell Shayari in English
तुम्हारा आना एक खूबसूरत एहसास है,
तुम साथ हो तो हर पल खास है !
सदा रहे सबके दिलो में प्यार,
आती रहे खुशियों का बहार,
रखकर मंजिलों की ओर कदम,
मेहमान का करे तालियों के साथ वेलकम !
मांगू और क्या मैं उस रब से,
तुम्हारे आने से हर ख्वाहिश मुकम्मल हो गयी !
दिल को सुकून मिलता हैं मुस्कुराने से,
महफिल में रौनक आती है आपके आने से !
आपके जैसा अतिथि हमारे लिए भगवान की रहमत है,
आप जो आये हमारे बिच यही हमारी किस्मत है !
हमारी महफ़िल में लोग बिन बुलायें आते हैं,
क्योंकि,
यहाँ स्वागत में फूल नहीं पलकें बिछाये जाते हैं !
Atithi Swagat Shayari in Hindi
जीवन में जटिल समस्याओं का स्वागत करें,
अवसर मिलते ही खुद को साबित करें !
इंतजार की घड़ियां ख़त्म हुयी,
आये हैं हमारे चाहने वाले,
जी भर के खुशियां मनाओ,
आये हैं दिल के दिए जलाने वाले !
आपके आने से ये शाम ख़ास हो गयी,
सारे दिन की बोरियत झक्कास हो गयी !

स्वागत है आपका आप समारोह की शान हैं,
हम चाहते हैं आपको आप हमारा अभिमान हैं !
आपकी हर एक बात याद रहेगी,
खुबसुरत मुलाकात भी याद रहेगी,
आते रहिये रोज रोज खुशियां बढ़ाने को,
ये पल जिंदगी भर याद रहेगी !
तुम आए तो हमें एक उम्मीद सी मिल गई
दुआओं में जैसे हमें जहां की खुशियां मिल गई !
आये वो हमारी महफ़िल में कुछ इस तरह
कि हर तरफ़ चाँद-तारे झिलमिलाने लगे,
देखकर दिल उनको झूमने लगा
सब के मन जैसे खिलखिलाने लगे.
हमारी महफ़िल में लोग बिन बुलायें आते हैं,
क्योकि यहाँ स्वागत में फूल नहीं पलकें बिछाये जाते हैं.
कौन आया कि निगाहों में चमक जाग उठी,
दिल के सोये हुए तरानों में खनक जाग उठी,
किसके आने की खबर ले कर हवाएँ आई
रूह खिलने लगी साँसों में महक जाग उठी.
हार को जीत की इक दुआ मिल गई,
तप्त मौसम में ठंडी हवा मिल गई,
आप आये मेरे सनम तो यूँ लगा,
जैसे दिल के दर्द को कुछ दवा मिल गई…
शब्दों का वजन तो हमारे बोलने के भाव से पता चलता हैं,
वैसे तो, दीवारों पर भी “वेलकम” लिखा होता हैं.
सबके दिलों में हो सबके लिए प्यार,
आने वाला हर पल लाये खुशियों का बहार,
इस उम्मीद के साथ भुलाके सारे गम
इस आयोजन का करें वेलकम.
जो दिल का हो ख़ूबसूरत,
ख़ुदा ने ऐसे लोग कम बनाये हैं,
जिन्हें ऐसा बनाया है खुदा ने,
आज वो हमारी महफ़िल में आये हैं…
देर लगी आने में तुम को शुक्र है फिर भी आए तो
आस ने दिल का साथ न छोड़ा वैसे हम घबराए तो
दिल को सुकून मिलता हैं मुस्कुराने से,
महफ़िल में रौनक आती है आपके आने से…
फ्रेशेर्स के चेहरे की जो मुस्कान है,
वही तो हमारे महफ़िल की शान है.
ये कौन आया, रौशन हो गयी महफ़िल किसके नाम से
मेरे घर में जैसे सूरज निकला है शाम से.
कौन आया है कि निगाहों में चमक जाग उठी,
दिल के सोये हुए तरानों में खनक जाग उठी,
किसके आने की खबर ले कर हवाएँ आई,
रूह खिलने लगी साँसों में महक जाग उठी..
महफिल को खूबसूरत बनाने में
थोड़ी सी हमारी मदद कीजिये,
अंजान बनकर मायूस नहीं बैठना है,
खुलकर मुस्कुराइये और आनंद लीजिये.
सौ चाँद भी आ जाएँ तो महफ़िल में वो बात न रहेगी,
सिर्फ आपके आने से ही महफ़िल की रौनक बढ़ेगी…
पहली मुलाक़ात में थोड़ा डर लगता है,
पर मुस्कुराकर शुरूआत हो तो अपना घर लगता है.
Swagat Shayari
हार को जीत की एक दुआ मिल गई
तपन मौसम में ठंडी हवा मिल गई।
आप आये श्री मान जी यू लगा,
जैसे तकलीफ को कुछ दवा मिल गई।
चाँदनी रात बड़ी देर के बाद आयी,
ये मुलाक़ात बड़ी देर के बाद आयी,
आज आये हैं वो मिलने मुद्दत के बाद,
आज की रात बड़ी देर के बाद आयी…
वो खुद ही नाप लेते हें बुलंदी आसमानों की,
परिंदों को नहीं तालीम दी जाती उड़ानों की।
महकना और महकाना तो काम है खुशबु का
खुशबु नहीं मोहताज़ होती क़द्रदानों की..

हर गली अच्छी लगी,
हर एक घर अच्छा लगा,
वो जो आया शहर में,
तो शहर भर अच्छा लगा…
उस ने वा’दा किया है आने का
रंग देखो ग़रीब ख़ाने का
गुलों में रंग भरे बाद-ए-नौ-बहार चले
चले भी आओ कि गुलशन का कारोबार चले
हुस्न-ओ-इश्क का समा है आज जमाने के बाद,
हर फूल की खुशबू गज़ब है आप के आने के बाद।
ये और बात कि रस्ते भी हो गए रौशन
दिए तो हम ने तिरे वास्ते जलाए थे
मीठी बात और चेहरे पर मुस्कान,
ऐसे लोग ही है हमारी महफ़िल के शान.
यह जो हिज्र में दीवार-ओ-दर को देखते हैं,
कभी सबा को कभी नामबर को देखते हैं।
वो आये घर में हमारे खुदा की कुदरत है,
कभी हम उनको कभी अपने घर को देखते हैं।
सौ चाँद भी चमकेंगे तो क्या बात बनेगी
तुम आए तो इस रात की औक़ात बनेगी
महफ़िल में चार चाँद लगाने के बावजूद
जब तक न आप आए उजाला न हो सका
शुक्रिया तेरा तिरे आने से रौनक़ तो बढ़ी
वर्ना ये महफ़िल-ए-जज़्बात अधूरी रहती