100+ Chai Shayari In Hindi | चाय शायरी

चाय सिर्फ एक पेय नहीं, बल्कि एक एहसास है जो दिल को सुकून और मन को ताजगी देता है। ठंडी सुबह हो या सुकून भरी शाम, एक कप चाय हर वक्त को खास बना देती है। अगर आप भी चाय के शौकीन हैं और अपनी फीलिंग्स को शब्दों में बयां करना चाहते हैं, तो यहां आपको Chai Shayari in Hindi का सबसे खूबसूरत संग्रह मिलेगा। इन शायरियों के जरिए अपनी चाय की मोहब्बत को खूबसूरत अंदाज में बयां करें और चाय के हर घूंट का मज़ा लें।
Chai Shayari In Hindi | चाय पर शायरी
ज़िन्दगी में परेशान बहुत हूँ, किसी की राय मिल जाए,
दिलासे की जरूरत नहीं बस, एक कप चाय मिल जाए।
ना किसी की सलाह और ना किसी की राय चाहिए,
बस एक अच्छा मौसम और एक कप चाय चाहिए।
उसने पुछा चाय में कितनी चीनी लोगे,
हमने कहा, एक घुट पी कर दे दीजिये।
यादों में आप और हाथ में चाय हो,
फिर अच्छी सुबह की शुरुआत हो।
ना इश्क और न दोस्त चाहिए,
सर्द मौसम में बस एक कप चाय चाहिए।
वो फिदा मुझपर और मैं फिदा उसकी हाथो की चाय पर।
अच्छी सलाह और अच्छी चाय,
हर कहीं नहीं मिलती।
चाय सी होती जा रही हो तुम,
जितना पीयू उतना कम है।
जिंदगी वही लोग जीते है, जो 3 वक्त की चाय पीते है।
मुझे सुकून चाहिए और तुम चाहिए,
और शाम को एक कप चाय चाहिए।

उसने मुझसे पूछा की, तुम्हे चाय पसंद है की मैं,
मेने जल्दी से चाय खत्म करी और कहा की तुम।
मैं चाय की तरह गर्म भी हूँ और लोगो की पसंद भी हूँ।
मेरी वाली के साथ बड़े कोमल से है,
पर उसकी चाय बड़ी कड़क होती है।
भारत में चाय सस्ती है,
तभी तो लोगों के दिल में बस्ती है।
इतिहास गवाह है, जिसका चाय से लगाव रहा,
उसका दिल में जरूर कोई घाव रहा।
चाय की लत कहा लगती है साहब,
हम तो उसे मोहब्बत की तरह पीते है।
चाय में इलायची की अलग इज्जत है,
हर किसी की चाय में नहीं डाली जाती।
सारे गमों की दवा लाया हु,
बैठो दोस्तों, एक एक कप चाय लाया हूँ।
तुम मेरे लिए चाय बन जाओ और मैं तुम्हारे लिए बिस्कुट बन जाऊँगा।
चाय में चीनी कम और गलत लोगो से दूरी रखनी चाहिये।
वो पल भी कोई पल है
जिस पल तेरा एहसास ना हो
वो चाय फिर चाय कैसी
जिसमें तेरे होठों सी मिठास ना हो।
चाय के बाद दूसरा रंग तुम्हारा है,
जो मुझे सांवला अच्छा लगता है
कुछ इस तरह से शक्कर को
बचा लिया करो, चाय जब पीओ हमें
जहन में बिठा लिया करो।
तेरी यादों का नशा है मुझे
चाय की तरह
सुबह सबसे पहले
तेरी ही याद आती है
न करना मेरी चाय पर शक ए-सनम,
हमने तुमसे सुबह की चाय सा इश्क किया है,
जिसके न मिलने पर दिन अधूरा सा लगने लगता है।
तुम्हारे हाथों की बनी चाय के गर्म एहसासों की जरूरत है मुझे,
सुबह की सर्दी और तुम्हारी जुदाई हमसे अब बर्दाश्त नही होती।
मिलो कभी चाय पर फिर कोई किस्से बुनेंगे,
तुम खामोशी से कहना, हम चुपके से सुनेंगे
जब सुबह सुबह तेरे प्यार के नग्में को गुनगुनाता हूं
लब मुस्कुराते है जब चाय का कप उठाता हूं।
एक कप चाय दो दिलो को मिला देती है,
एक कप चाय दिन भर की थकान मिटा देती है।
दोबारा गर्म की हुई चाय और
समझौता किया हुआ रिश्ता
दोनों में पहले जैसी
मिठास कभी नही आती।
हाथ में चाय और यादों में आफ हो,
फिर उस खुशनुमा सुबह की क्या बात हो।
ये खामोश से लम्हें
ये गुलाबी ठंड के दिन,
तुम्हें याद करते करते
एक और चाय तुम्हारे बिन।
सुबह की चाय से भी वो ताजगी नहीं आती है,
जो सुबह में तेरी एख झलक पा जाने में आती है।
खबर फैली मोहल्ले में तेरे मेरे इश्क की इस कदर,
लोग चाय की चुस्कियों से ज्यादा हमारा नाम लेने लगे
हम तुम शायरी और एक कप चाय,
ख्वाब भी देखो जान मेरे कितने हसीन है।
तुम कॉफी मांगोगे तो हम चाय देंगे,
खूब उबल रही है जिंदगी हम भी हर घूंट का मजा लेंगे।
Shayari on Chai in Hindi
आज फिर उसकी
यादों में ही खोए रह गए,
चाय तो पी ली पर
बिस्किट धरे के धरे रह गए।
एक बात तो
सौ टका सच्ची है दोस्तों,
इश्क सुकून दे या न दे
चाय दिल को सुकून जरूर देती है।
महोब्बत में तन्हाई अच्छी नहीं लगती
चाय कभी बिना चीनी के नहीं बनती
एक हाथ में सिगरेट हो, एक मे हो चाय
दिन हो ऐसा
जब साथ हो सारे भाई
उसके लबों पर न जाने
कौन सा नशा था
चाय भी पिऊ तो
नशा उसी का रहता है।
रात को जागना हो जाता है मुश्किल उनका
जिनकी दिनचर्या में चाय की चुस्की नहीं होती
आज फिर तेरी यादों में बह गए,
चाय पी ली बिस्किट रह गए।
तुम चाय जैसी
मोहब्बत तो करो,
हम बिस्कुट की तरह
ना डूब जाए तो कहना।
न जाने क्यों मुझे
रुलाती है, मुझे तू नहीं
तेरे हाथों की चाय
बहुत याद आती है।
फीकी चाय पिला कर मीठी बातें करती है,
कुछ इस तरह से वह
चीनी की कमी पूरी करती है।
नशा नहीं करते हम प्यार और शराब का
हमे तो बस नशा होता है कड़क चाय का।
जो वक़्त के साथ
बदल जाए, वो राय होती है,
जब ज़िंदगी में कुछ नहीं होता,
तब बस चाय होती है।
हलके में मत लेना तुम
सावले रंग को
दूध से कहीं ज्यादा देखे है
मैंने शौक़ीन चाय के।

गर्म चाय पीते हुए
अक्सर बीते वक्त में पहुंच जाते हैं..
कितने ही लोग चंद पैसों में ट्रैवल का मज़ा पाते हैं।
रिश्तों की चाय में शक्कर
ज़रा माप के ही रखना
ऐ दोस्त फीकी हुई तो स्वाद नही
आएगा,ज्यादा मीठी हुई तो मन भर जाएगा
एक कप चाय दो दिलों को मिला देती है,
एक कप चाय दिन
भर की थकान मिटा देती है.
इश्क़ और सुबह की चाय
दोनों एक समान होती हैं,
हर बार वही नयापन,
हर बार वही ताज़गी
अच्छा लगता है,
ढलते सूरज के साथ
छत पे चाय पीना,
अदरक की ख़ुश्बू के साथ कतरा-कतरा जीना।
शाम को जब मेरे लबों को
छू लेती है
चाय दिन भर की
थकान मिटा देती है।
शाम होते ही जिसका इंतेजार करते हैं,
उसी चाय को से हम बेइंतहाँ प्यार करते हैं।
कुछ इस तरह से खर्च हुई
तनख्वाह मेरी,
भारी सर्दी में चाय
बँटी हो जैसे।
उसे देख कर नियत
इस तरह मचल गई
चाय गरम थी
हमारी जीभ जल गई।
बैठे चाय की प्याली लेकर
पुराने किस्से गरम करने
चाय ठंङी होती गई और आँखे नम
हाथ में चाय और
यादों में आप हो,
फिर उस खुशनुमा सुबह की
क्या बात हो.
मैं पीसती रही इलायची, अदरख,
दालचीनीपर महक
चाय से तेरी यादों की आयी
ठण्ड का मौसम हो और
किसी की यादे हो सीने में,
फिर ऐसे मौसम में मजा आता है
गर्मा गरम चाय पीने में.
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Chai Pe Shayari | चाय पर शायरी
शाम जो हुई एक प्याली चाय याद आई.
तेरी चाहत की की महक मेरे घरोनदे तक आई.
शाम की चाय पे इंतजार है तुम्हारा…
आके अपने हाथों से पिला जाओ…!!!
सिगरटें चाय धुआँ रात गए तक बहसें,
और कोई फूल सा
आँचल कहीं नम होता है।
हल्के में मत लेना तुम
सांवले रंग को
दूध से कहीं ज्यादा देखे है मैंने
शौकीन चाय के
लहजा थोड़ा ठडां रखे साहब
गर्म तो हमें सिर्फ़ चाय पसदं है
आज लफ्जों को मैंने
शाम की चाय पे बुलाया है
बन गयी बात तो गजल भी हो सकती
एक तेरा ख़्याल ही तो है
मेरे पास.
वरना कौन अकेले में
बैठे कर चाय पीता है.
ख़ुशनसीब है हमसे वह चाय की प्याली,
जो सुबह सुबह चूम लेती है तेरे होंटों की लाली..

सुनो !!!
चाय भी छूटती जा रही है अब धीरे-धीरे,
जैसे कि तुम दूर
होते जा रही हो..
एक कप कड़क चाय,
3 breakup का दर्द भुला देती है..
कुछ इस तरह से
शक्कर को बचा लिया करो,
#चाय जब पीओ हमें जहन में बैठा लिया करो.
एक तेरा ख़्याल ही तो है
मेरे पास.
वरना कौन अकेले में
बैठे कर चाय पीता है.
मिलो कभी चाय पर फिर क़िस्से बुनेंगे..
तुम ख़ामोशी से कहना
हम चुपके से सुनेंगे.
जब सुबह-सुबह तेरे प्यार के
नग्में को गुनगुनाता हूँ,
लब मुस्कुराते है
जब चाय का कप उठाता हूँ.
Chai Aur Mohabbat Par Shayari
"चाय और मोहब्बत दोनों की बात है खास,
एक से दिल को सुकून, दूजे से होती है दिल की प्यास।"
"मोहब्बत की चुस्की और चाय का स्वाद,
दिल की राहों में दोनों का ही है बड़ा योगदान। "
"एक कप चाय दो दिलो को मिला देती है,
एक कप चाय दिन भर की थकान मिटा देती है।"
"मुझे सुकून चाहिए और तुम चाहिए,
और शाम को एक कप चाय चाहिए।"
"चाय के कप में मोहब्बत का रंग,
जैसे दिल में बसी हो कोई खूबसूरत उमंग। "
"चाय की प्याली और तेरा ख्याल,
दोनों ही देते हैं दिल को बेपनाह हलचल। "
"मोहब्बत हो या चाय, दोनों हैं एक से,
धड़कनों में घुल जाते हैं धीरे-धीरे, बेफिक्री के। "
"तेरी मोहब्बत और चाय की गर्मी,
दोनों ही करते हैं दिल की सर्दी कम। "
"चाय का कप और तेरी यादें,
दोनों मिलकर सजाते हैं दिल के ख्वाबों की राहें। "

"मोहब्बत की तरह है चाय की महक,
धीरे-धीरे दिल में उतर जाए, जैसे कोई लम्हा खास। "
"तेरी मोहब्बत में डूबी हर चाय की चुस्की,
दिल को मिलती है जैसे मीठी सी मस्ती। "
"चाय और मोहब्बत दोनों का नशा,
जब भी होता है, दिल कहे बस और ज़रा। "
"हर घूंट में बसती है तेरी मोहब्बत की मिठास,
दिल को दे जाती है एक अलग एहसास। "
"मोहब्बत की तलब हो, तो चाय का प्याला पकड़,
हर घूंट में मिलेगी दिल की धड़कनों की कशमकश। "
"वो फिदा मुझपर और मैं फिदा उसकी हाथो की चाय पर।"
"तेरे साथ चाय का आनंद कुछ और है,
दिल कहता है, ये लम्हा बस यहीं थम जाए। "
"मोहब्बत की चाय में बसी है खासियत,
जिससे मिलता है सुकून और बेपनाह चाहत। "
"चाय और मोहब्बत दोनों में है जादू सा असर,
दिल को कर देते हैं वो सुकून का सफर। "
"चाय की गर्मी में मोहब्बत का जादू,
दिल को मिलती है हर पल की खुशबू। "
"तेरी मोहब्बत और चाय का साथ,
जिंदगी के सफर में ये दोनों ही हैं खास। "
"चाय के साथ तेरी बातों का मज़ा,
दिल में बसता है एक नया सा नशा। "
"मोहब्बत की तरह चाय भी है कमाल,
धीरे-धीरे दिल को कर दे बेहाल। "
"तेरी यादों और चाय का रिश्ता पुराना,
हर घूंट में दिखता है तेरा मुस्कुराना। "
"चाय के कप में बसी है तेरी मोहब्बत,
हर घूंट में दिल को मिले सुकून की राहत। "
"चाय और मोहब्बत, दोनों की जरूरत है,
जिंदगी के सफर में इनसे ही तो मुराद है। "
"तेरी मोहब्बत और चाय की चुस्की,
दोनों में है दिल को छू लेने की ताजगी। "
Best Ishq or Chai Shayari Status
मान लो मेरी राय, इश्क से बेहतर है चाय।
असली जिंदगी, वही जीते हैं, जो चाय पीते हैं।
इकतरफा इश्क में इस कदर दिल टूट गया है,
कि दोस्तों के साथ चाय पीना भी छूट गया है

इश्क से हारे लोग मयखानों ने,
या मिलते हैं चाय के ठिकानों में।
आज उनसे प्यार का इज़हार करना है,
इसलिए आज शाम हमें चाय पर मिलना है।
थक गया हूँ सबकी राय से,
मुझे मोहब्बत है सिर्फ चाय से
जब सुबह-सुबह तेरे प्यार के नगमें को गुनगुनाता हूं,
लब मुस्कुराते है जब चाय का कप उठाता हूं।
मेरे जज़्बातों का कोई तो सिला दो,
कभी घर बुला के चाय तो पिला दो।